हींग (Asafoetida) सुगंधित मसाला: उपयोग, फ़ायदे.(बादशाही हींग, लाल हींग, सफेद हींग)

 

हींग (Asafoetida) सुगंधित मसाला: उपयोग, फ़ायदे.(बादशाही हींग, लाल हींग, सफेद हींग)

एक विशेष प्रकार का सुगंधित मसाला है जो भारतीय रसोईयों में विशेष रूप से प्रयुक्त होता है। इसमें अद्भुत स्वाद और गंध होती है। यह न केवल एक मसाला है, बल्कि इसे आयुर्वेदिक चिकित्सा में भी महत्वपूर्ण रूप से माना जाता है। इसमें कई औषधीय गुण होते हैं जो सेहत के  लिए उपयोगी होते हैं, लेकिन इसके कुछ दुष्प्रभाव भी हो सकते हैं। इस लेख में, हम हींग के बारे में विस्तार से जानेंगे।


हींग का नाम लैटिन शब्द 'Ferula' से आता है जिसका अर्थ होता है 'फेरुला' या 'फेरुलम'। यह एक उच्च वन्य पौधा है जो विभिन्न क्षेत्रों में पाया जाता है, जैसे कि मध्य एशिया, और मेडिटेरेनियन क्षेत्र। हींग पोधे के जड़ से निकाले गए रस से तैयार किया जाता है. जब रस निकाल लिया जाता है तो उसे प्रोसेस के माध्यम से गोंद और स्टार्च मिलाकर खाने वाले हींग के रूप में तैयार किया जाता है.

रसोईयों में हींग का उपयोग:

हींग को भारतीय रसोईयों में विभिन्न तरीकों से उपयोग किया जाता है। यह खाद्य विशेष में न केवल स्वाद और गंध को बढ़ाता है, बल्कि इसके कई स्वास्थ्य लाभ भी हैं। हींग को तड़के और मसाले के रूप में उपयोग किया जाता है, जो खाने को और भी स्वादिष्ट बना देता है।

हींग की तासीर क्या होती है?

हींग की तासीर गर्म होती है. हींग सेहत के लिए फायदेमंद होती है. 


हींग कितने प्रकार की होती है?

हींग के कई प्रकार होते हैं, लेकिन मुख्यतः तीन प्रकार की होती है - बादशाही हींग, लाल हींग और सफेद हींग। इनमें से बादशाही हींग सबसे लोकप्रिय है और इसे सामान्यत: भारतीय व्यंजनों में प्रयुक्त किया जाता है।

बादशाही हींग:

बादशाही हींग, जिसे कभी-कभी गुलाबी हींग भी कहा जाता है, वह एक प्रसिद्ध हींग का प्रकार है। इसका उच्च गुणवत्ता और विशेष स्वाद इसे विशेष बनाते हैं। बादशाही हींग का रंग सामान्यत: गहरा होता है और इसमें सुगंध और मसालेदार भावनाएं होती हैं। इसे भारतीय खाने में उपयोग करके उन्हें अधिक स्वाद मिलता है। इसमें प्रोटीन, आयरन, और विटामिन सी की अच्छी मात्रा होती है। इसका सेवन आयुर्वेद में भी किया जाता है, क्योंकि इसमें पाचन को सुधारने, अमाशय को शांति प्रदान करने, और गैस्ट्रो-इंटेस्टाइनल समस्याओं को दूर करने में मदद करने के गुण होते हैं।

लाल हींग:

लाल हींग, जैसा कि नाम से ही प्रतित है, इसका रंग लाल होता है। यह भी एक प्रकार का हींग है जो खासतर से भारतीय रसोईयों में प्रयुक्त होता है। लाल हींग का स्वाद अनुभूति को और भी गहरा बनाता है। इसमें भी प्रोटीन, आयरन, और कैल्शियम की सामरिक मात्रा होती है। लाल हींग का सेवन खाद्य पदार्थों को स्वास्थ्यप्रद बनाने में मदद कर सकता है, और इसे तड़के, सब्जियों और दालों में उपयोग करके अधिक स्वादिष्ट बनाया जा सकता है।

सफेद हींग:

सफेद हींग, जिसे श्वेत हींग भी कहा जाता है, एक और रूप है जो हींग का हिस्सा है। इसका रंग सफेद होता है। यह स्वाद और खुशबू को बढ़ाने के लिए प्रयुक्त किया जाता है। इसमें फाइबर, आयरन, और विटामिन सी मौजूद होते हैं, जो हमारे शारीरिक स्वास्थ्य के लिए आवश्यक हैं। सफेद हींग को सामान्यत: चटनियों, रायतों, और अन्य व्यंजनों में उपयोग किया जाता है।

हींग के औषधीय गुण:


1. एंटी-इन्फ्लेमेटरी गुण: हींग में एंटी-इन्फ्लेमेटरी गुण होता है जो शरीर के इन्फ्लेमेशन को कम कर सकता है।

2. आंति-बैक्टीरियल प्रॉपर्टीज़: हींग आंति-बैक्टीरियल प्रॉपर्टीज़ रखता है, जिससे बैक्टीरियल संक्रमणों का इलाज किया जा सकता है।

3. एंटी-ऑक्सीडेंट्स: हींग में एंटी-ऑक्सीडेंट्स होते हैं, जो शरीर को रोग मुक्त कर सकते हैं।

4. एंटी-स्पास्मोडिक गुण: हींग का सेवन एंटी-स्पास्मोडिक गुण को बढ़ावा देने में मदद कर सकता है, जिससे मासिक धर्म संबंधित समस्याएं कम हो सकती हैं।

हींग के उपयोग:

1. आयुर्वेदिक उपयोग: हींग आयुर्वेदिक चिकित्सा में विशेष महत्त्वपूर्ण है और यह विभिन्न रोगों के इलाज में काम आता है।

2. दांतों के लिए लाभकारी: हींग का तेल दांतों की सफाई के लिए उपयोगी है और मसूढ़ों की समस्याओं को कम करने में मदद कर सकता है।

3. अपच दूर करने में सहायक: हींग अपच को दूर करने में मदद कर सकती है और पाचन को सुधार सकती है।

4. श्वासरोग में उपयोग: हींग का सेवन श्वासरोगों में लाभकारी हो सकता है और श्वास की समस्याओं को कम करने में मदद कर सकता है।

5. बवासीर के इलाज में: हींग का उपयोग बवासीर के इलाज में भी किया जा सकता है।

6. कफ और सर्दी में राहत: हींग का सेवन कफ और सर्दी से राहत प्रदान कर सकता है।

7. गैस की समस्या में लाभकारी: हींग गैस की समस्या में भी उपयोगी हो सकती है और पेट की समस्याओं को दूर करने में मदद कर सकती है।

8. खुजली में राहत: हींग का तेल खुजली को कम करने में मदद कर सकता है।

9. कब्ज़ का इलाज: हींग का सेवन कब्ज़ के इलाज में भी किया जा सकता है।

10. वजन कम करने में सहायक: हींग वजन कम करने में मदद कर सकती है और अत्यधिक चर्बी को कम करने में सहायक हो सकती है।

11. मासिक धर्म की समस्याओं में: हींग का सेवन महिलाओं को मासिक धर्म की समस्याओं में राहत प्रदान कर सकता है।

12. दर्दनिवार जोड़ों में राहत: हींग का तेल जोड़ों के दर्द में राहत प्रदान कर सकता है।

13. स्वास्थ्य के लाभों के लिए चाय: हींग का चाय अनेक स्वास्थ्य लाभों के लिए फायदेमंद है।

14. ब्लड प्रेशर को नियंत्रित करने में: हींग ब्लड प्रेशर को नियंत्रित करने में मदद कर सकती है।

15. चर्म रोगों में उपयोगी: हींग का सेवन चर्म रोगों में भी उपयोगी हो सकता है और त्वचा को स्वस्थ रखने में मदद कर सकता है।

16. बालों के लिए लाभकारी: हींग का तेल बालों के स्वास्थ्य को बनाए रखने में मदद कर सकता है।

17. बुखार में राहत: हींग का सेवन बुखार में राहत प्रदान कर सकता है।

हींग तेल के उपयोग:

इसे बनाने के लिए पहले तो सरसों का नीलगिरी का तेल या फिर नारियल तेल लें। अब हींग को इसमें डाल कर आराम से पका लें। चाहें तो आप इसमें कपूर भी और लौंग भी डाल सकते हैं। अब ये तेल जब तैयार हो जाए तो इसे एक बोतल में डाल कर रख लें और जरूरत पड़ने पर इसका इस्तेमाल करें।

हींग तेल भारतीय रसोईयों में स्वाद और खुशबू के लिए महत्वपूर्ण है।


1. खाने का स्वाद बढ़ाएं: हींग तेल का प्रमुख उपयोग है खाने में स्वाद बढ़ाना। इसे तड़के में डालकर दाल, सब्जी, खिचड़ी और और भी कई व्यंजनों को स्वादिष्ट बना सकते हैं।

2. अनार्थिक बचाव: हींग तेल का इस्तेमाल अनार्थिकों को भगाने के लिए किया जा सकता है। घर के कोने-कोने में यह तेल डालने से अनार्थिकों का परिचय हो सकता है।

3. आरामदायक मसाज तेल: हींग तेल को शरीर में मसाज के लिए इस्तेमाल किया जा सकता है। यह थकान को कम करने में मदद कर सकता है और राहत प्रदान कर सकता है।

4. पेट की गैस को दूर करें: हींग तेल का सेवन पेट की गैस को कम करने में मदद कर सकता है। खाने में इसका उपयोग करके पाचन सिस्टम को सुधारा जा सकता है।

5. कफ और सर्दी में लाभकारी: हींग तेल को गरम दूध में मिलाकर सर्दी और कफ में लाभकारी हो सकती है। इससे सर्दी और कफ से राहत मिल सकती है।

6. जोड़ों के दर्द को कम करें: हींग तेल का मसाज जोड़ों के दर्द को कम करने में मदद कर सकता है। इससे जोड़ों की सुजन और दर्द में राहत मिल सकती है।

7. छाती में तेजी से सुखाने के लिए: हींग तेल को ब्रेस्टफीडिंग माताओं के लिए छाती में लगाया जा सकता है ताकि छाती तेजी से सुख सके और माता और शिशु दोनों को आराम मिले।

8. चर्बी को कम करने में मदद: हींग तेल में मौजूद विशेष गुण चर्बी को कम करने में मदद कर सकता है। इसे सलाद में मिलाकर खाने से शरीर की चर्बी कम हो सकती है।

9. मुँहासों का इलाज: हींग तेल को मुँहासों के इलाज के लिए भी इस्तेमाल किया जा सकता है। इसे नियमित रूप से चेहरे पर लगाने से मुँहासे कम हो सकते हैं।

10. कुष्ठरोग में लाभ: हींग तेल का इस्तेमाल कुष्ठरोग (प्सोरायसिस) में भी किया जा सकता है। इससे त्वचा की सूजन को कम करने में मदद मिल सकती है।

11. बालों के लिए: हींग तेल को बालों में लगाने से रूखे बाल मुलायम हो सकते हैं और बालों की चमक बढ़ सकती है।

12. गर्मी से राहत: हींग तेल को शीतलक रूप से इस्तेमाल किया जा सकता है। इसे शरीर पर लगाने से गर्मी से राहत मिलती है और त्वचा को ठंडक मिलती है।

13. घावों का इलाज: हींग तेल को घावों पर लगाने से जल्दी ठीक हो सकते हैं। इसमें एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण होते हैं जो घावों को ठीक करने में मदद कर सकते हैं।

14. मासिक धर्म में राहत: हींग तेल का सेवन मासिक धर्म के दौरान होने वाले दर्द को कम करने में मदद कर सकता है।

15. ख़ूबसूरत त्वचा के लिए: हींग तेल को त्वचा पर लगाने से त्वचा में निखार और चमक बनी रहती है।

16. खुजली में राहत: हींग तेल को त्वचा पर लगाने से खुजली में भी राहत मिल सकती है।

17. बच्चों के लिए: हींग तेल को बच्चों के लिए भी इस्तेमाल किया जा सकता है। इससे उनकी सुस्ती कम हो सकती है और उन्हें अधिक ऊर्जा मिल सकती है।

18. खांसी और जुकाम में राहत: हींग तेल को गरम दूध के साथ मिलाकर पीने से खांसी और जुकाम में राहत मिल सकती है।

हींग के दुष्प्रभाव:


1. गर्भावस्था में सावधानी: गर्भावस्था के दौरान हींग का अधिक सेवन न करें, क्योंकि यह गर्भाशय में असुरक्षित हो सकता है। हींग गर्भाशय के संकुचन को उत्तेजित करके गर्भपात का कारण भी बन सकती है।

2. उच्च रक्तचाप: हींग का अधिक सेवन करने से उच्च रक्तचाप की समस्या हो सकती है, इसलिए अगर आपको ब्लड प्रेशर की समस्या है तो आप हींग का ज्यादा सेवन करने से बचें।

3. आलर्जी: कुछ लोग हींग के प्रति आलर्जी का सामना कर सकते हैं.

4. इसके अधिक सेवन से पाचन संबंधी परेशानी हो सकती है।

समापन:

इस प्रकार, बादशाही हींग, लाल हींग, और सफेद हींग, तीनों ही रूपों में हींग हमारे रसोईयों में अद्भुत और स्वादिष्टता भरा जीवन देते हैं। इनमें से प्रत्येक की अपनी विशेषता है और इन्हें उपयोग करके हम अपने खाने को और भी रूचिकर बना सकते हैं। इस रूप से, बादशाही हींग, लाल हींग, और सफेद हींग, तीनों ही विभिन्न रूपों में हींग हैं जो हमारे खाद्य में स्वाद और पोषण को बढ़ाने में सहायक हो सकते हैं। इनमें प्रोटीन, आयरन, फाइबर, और विटामिन्स की सही मात्रा होने से हमारे शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य को अधिक ऊर्जा मिल सकती है।

लेख पढने के लिए धन्यवाद।

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